
सुल्तानपुर-डीवीएनए। बीते 27 साल से इसौली विधानसभा के कद्दावर नेता जुनैद अहमद आखिरकार बहुजन समाज पार्टी का दामन छोड़कर समाजवादी साइकिल पर सवार हो गए। 27 साल से बहुजन समाज पार्टी में रहकर विधानसभा में एक नई धार देने वाले जुनैद अहमद आगामी त्रिस्तरीय पंचायत चुनाव में बहुजन समाज पार्टी से पंचायत चुनाव में समर्थन न मिलने से नाराज चल रहे थे। नाराजगी यहां तक बढ़ती गई कि आखिर कार उन्हें बहुजन समाज पार्टी का दामन छोडना पड़ा।
आपको बता दें कि बीते 27 साल से बहुजन समाज पार्टी में रह कर अनेको उतार-चढ़ाव देखे लेकिन पार्टी को कभी नहीं छोड़ा। तो वहीं सूत्रों के हवाले से मिली जानकारी के मुताबिक इसौली विधानसभा के कद्दावर नेता जुनैद अहमद की पत्नी बल्दीराय ब्लाक के वार्ड नंबर 28 से जिला पंचायत सदस्य की प्रत्याशी थी। जिन्हें बहुजन समाज पार्टी से समर्थन न मिलने पर नाराजगी चल रही थी जिसका खामियाजा बहुजन समाज पार्टी को आखिरकार भुगतना पड़ा। तो वही श्री अहमद ने बताया कि मैं पिछले 27 साल से बहुजन समाज पार्टी मे रहकर पूरी ईमानदारी व निष्ठा से पार्टी को मजबूत करने का कार्य कर रहा था। आगामी त्रिस्तरीय पंचायत चुनाव में मेरी पत्नी बल्दीराय ब्लाक के वार्ड नंबर 28 से जिला पंचायत सदस्य की प्रत्याशी थी। जिन्हें बसपा से समर्थन नहीं दिया गया। मैंने 27 साल से इसौली विधानसभा में बसपा की नीव मजबूत करने हेतु पार्टी के प्रति ईमानदारी व निष्ठा से कार्य करने का मुझे यही सिला दिया। तो वही कद्दावर नेता जुनैद अहमद के बसपा छोड़कर सपा में जाने से इसौली में सियासत तेज हो गई।